surya

नई दिल्ली, एजेंसी। साल 2024 का पहला सूर्य ग्रहण 8 अप्रैल यानी सोमवार को लगने वाला है। पश्चिमी यूरोप पेसिफिक, अटलांटिक, आर्कटिक मेक्सिको, उत्तरी अमेरिका, मध्य अमेरिका, दक्षिण अमेरिका के उत्तरी भाग, कनाडा, इंग्लैंड के उत्तर पश्चिम क्षेत्र और आयरलैंड में यह पूर्ण सूर्य ग्रहण नजर आएगा। अंतरिक्ष में सूरज को चंद्रमा पूरी तरह से ढक लेता है, तो पूर्ण सूर्य ग्रहण लगता है। इस दौरान दिन में ही अंधेरा हो जाता है और तापमान में गिरावट होती है। इस सूर्य ग्रहण का वैज्ञानिकों को इंतजार है। पूर्ण सूर्य ग्रह के दौरान सूर्य का कोराना नजर आ सकता है। इस दौरान सूर्य अपने 11 वर्षों के चक्र के चरम पर हैं। इसकी वजह से उसमें अधिक गतिविधि नजर आ रही है, लेकिन सूर्य ग्रहण से ठीक पहले वैज्ञानिकों ने अचानक से सूरज में शांति देखी है। इसके कारण वह हैरान हैं। सूर्य ग्रहण के दौरान एक समय ऐसा आता है, जब चंद्रमा पूरी तरह से सूर्य को ढक लेता है, जिसे समग्रता कहा जाता है। इस दौरान सूर्य का प्रकाश धरती पर नहीं पड़ता है।

सूर्य अपनी गतिविधि के चरम पर है…

चक्र के दौरान सौर गतिविधियां कम से ज्यादा की ओर जाती हैं और फिर कम होती हैं। इसी तरह यह चक्र चलता रहता है। इस दौरान सूर्य अपनी गतिविधि के चरम पर है, जिसे सोलर मैक्सिमम कहा जाता है। सौर गतिविधियों के चरम पर होने की वजह से काले सनस्पॉट सूर्य की सतह पर फैल जाते हैं, जिनमें से अक्सर शक्तिशाली तूफान निकलते हैं। एक्सपर्ट्स मानते हैं कि सोलर मैक्सिमम का चरण पूर्वानुमान से एक साल पहले ही शुरू हो गया है, लेकिन जब तक पूरी तरह खत्म नहीं होता है, तब तक हम कुछ नहीं कहा जा सकता है। बीते दो महीनों से सौर गतिविधियां बहुत अधिक बढ़ी हुई थीं। सूर्य पर विशाल सनस्पॉट थे जिनसे लगातार एक्स श्रेणी की सौर लपटें निकल रही थीं। यह सबसे शक्तिशाली सौर विस्फोट होते हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *