The Amazing Intelligence Of Crows

कई दशकों के शोध में वैज्ञानिकों ने कौवों की संज्ञानात्मक क्षमताओं पर गहन अध्ययन किया है। ये पक्षी न केवल समस्याएं सुलझाने और उपकरण बनाने में माहिर हैं, बल्कि उनके दिमाग में घने न्यूरॉन नेटवर्क होने के कारण वे इंसान के सात साल के बच्चे जितने बुद्धिमान हो सकते हैं।

आईबीएन, डिजिटल डेस्क। कौवों की बुद्धिमत्ता पर किए गए शोधों से पता चला है कि वे निर्णय लेने, समस्याएं हल करने और तर्कशक्ति का उपयोग करने में अद्वितीय हैं। जहां आम धारणा यह है कि दिमाग का बड़ा आकार अधिक बुद्धिमत्ता का सूचक है, कौवों ने इस सिद्धांत को चुनौती दी है। उनके छोटे मस्तिष्क में उच्च घनत्व वाले न्यूरॉन्स का होना, उन्हें तेज सोच और कम ऊर्जा खपत में सक्षम बनाता है।

अध्ययनों में पाया गया कि कौवे उपकरणों का निर्माण और उपयोग कर सकते हैं, जो उनकी जटिल सोच और रचनात्मकता का प्रमाण है। एक शोध के अनुसार, कौवे इंसानों द्वारा दी गई परेशानियों को याद रखते हैं और उनसे बदला लेने की योजना बनाते हैं। ये पक्षी अपने अनुभवों से सीखने और भविष्य के लिए रणनीति बनाने में भी सक्षम हैं। भारतीय संस्कृति और मिथकों में भी कौवों को बुद्धिमत्ता का प्रतीक माना गया है। वैज्ञानिक शोध अब इस परंपरागत धारणा को भी मजबूत करते हैं।

कौवों की चतुराई और अनोखी सोच क्षमता ने उन्हें न केवल प्राचीन कहानियों में बल्कि आधुनिक विज्ञान में भी खास स्थान दिलाया है। अगली बार जब आप किसी कौवे को देखें, तो इसे केवल एक पक्षी न मानें; यह प्रकृति की एक अद्भुत कृति है।